तर्ज : धमाल
बाबा नंद के दरबार मची रे होळी रे बाबा नंद के - 2
मची रे होळी, रे मची रे होळी, बाबा नंद के
बाबा नंद के दरबार मची रे होळी रे बाबा नंद के
के मण लाल गुलाल उड़त है - 2
के मण केसर कस्तूरी , रे बाबा नंद के
बाबा नंद के दरबार मची रे होळी रे बाबा नंद के
नौ मण लाल गुलाल उड़त है - 2
दस मण केसर कस्तूरी, रे बाबा नंद के
बाबा नंद के दरबार मची रे होळी रे बाबा नंद के
कौन गांव को किशन कन्हैयो रे - 2
कौन गांव की राधा गौरी रे बाबा नंद के
बाबा नंद के दरबार मची रे होळी रे बाबा नंद के
नंद गांव को किशन कन्हैयो रे
बरसाने की राधा गौरी रे बाबा नंद के
बाबा नंद के दरबार मची रे होळी रे बाबा नंद के
कितने बरस को कुंवर कन्हैयो रे
कितने बरस की राधा गौरी रे बाबा नंद के
बाबा नंद के दरबार मची रे होळी रे बाबा नंद के
पांच बरस को कुंवर कन्हैयो रे
सात बरस की राधा गौरी रे बाबा नंद के
बाबा नंद के दरबार मची रे होळी रे बाबा नंद के
किसके हाथ कनक पिचकारी
किसके हाथ अबीर बोरी रे बाबा नंद के
बाबा नंद के दरबार मची रे होळी रे बाबा नंद के
कान्हा जी के हाथ कनक पिचकारी
राधा जी के हाथ अबीर बोरी रे बाबा नंद के
बाबा नंद के दरबार मची रे होळी रे बाबा नंद के
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